जेपीसी की दूसरी बैठक में एएसआई ने कहा, 120 स्मारकों पर अलग-अलग राज्यों में वक्फ बोर्डों ने कर रखा है दावा
नई दिल्ली। वक्फ संशोधन विधेयक पर संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) की दूसरे दिन की मीटिंग के दौरान भी काफी गरमागरमी देखी गई। भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) ने दावा किया कि उसके संरक्षण में 120 से ज्यादा स्मारकों पर अलग-अलग राज्यों के वक्फ बोर्ड अपना दावा जता रहे हैं। इनमें से कुछ स्मारकों को तो एएसआई आजादी से पहले ही संरक्षित घोषित कर चुका है। एएसआई के इस बयान के बाद सत्ता पक्ष और विपक्ष के सदस्यों के बीच तीखी नोकझोंक हुई।
एएसआई को दोनों पक्षों के तीखे सवालों का सामना करना पड़ा। विपक्षी सदस्यों ने संस्कृति मंत्रालय पर गुमराह करने का आरोप लगाया, जो एएसआई की देखरेख करता है। उनका कहना था कि मंत्रालय वॉट्सऐप यूनिवर्सिटी की गलत सूचनाओं को फैला रहा है।
एएसआई ने अपने प्रेजेंटेशन में 53 स्मारकों की एक लिस्ट पेश की, जिन पर वक्फ बोर्ड अपना दावा जता रहे हैं। इनमें से कुछ को एएसआई द्वारा संरक्षित घोषित किए जाने के तकरीबन एक सदी बाद वक्फ संपत्ति घोषित किया गया था। एएसआई आजादी के पहले से वजूद में है। विपक्षी सदस्यों ने संस्कृति मंत्रालय के सचिव पर भी निशाना साधा।
इससे पहले भी वक्फ बिल पर जेपीसी की मीटिंग हुई थी और उसमें भी सत्ता पक्ष और विपक्ष में तीखी नोकझोंक हुई थी। पहली मीटिंग में विपक्षी सदस्यों ने सवाल किया कि आखिर बिल लाए जाने की जरूरत ही क्या है।
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