भूमि नगर निगम की और उसने जानवरों का बाड़ा बना लिया, काम रुकवाया
आगरा। आखिर वह कौन है जो बार बार नगर निगम की वेशकीमती जमीन को कब जाने का दुस्साहस कर रहा है। दो हफ्ते के अंदर दो बार ऐसा किया जा चुका है और दोनों ही बार नगर निगम ने कब्जे के प्रयास को विफल किया है।
शमसाबाद रोड पर एकता पुलिस चौकी के समक्ष खाली पड़ी एक हेक्टेयर भूमि सरकारी है और चारागाह के रूप में दर्ज है। करोड़ों रुपये कीमत की इस सरकारी भूमि पर भू माफिया आंखें गड़ाए बैठा है।
यह भूमि चमरौली में एकता पुलिस चौकी पीछे है। मंगलवार को क्षेत्रीय पार्षद दीपक वर्मा ने नगर आयुक्त अंकित खंडेलवाल को सूचना दी कि जितेन्द्र रैपुरिया नाम का व्यक्ति उक्त भूमि पर जानवरों का बाड़ा बनाकर पानी के लिए पंप लगवा रहा है। नगर आयुक्त ने सहायक नगर आयुक्त अशोक प्रिया गौतम को कार्रवाई के आदेश दिये।
कर निरीक्षक वैभव यादव को मौके पर भेजा। वहां जाकर पता चला कि उक्त व्यक्ति ने सरकारी भूमि पर कब्जे के लिए जानवरों का बाड़ा बना लिया है और उस समरसेविल की बोरिंग करा रहा है। नगर निगम की टीम ने उससे जमीन के कागज मांगे तो वह नहीं दिखा पाया। इस पर नगर निगम की टीम ने इस भूमि से बाड़ा हटाये जाने की चेतावनी के ही साथ समरसेविल का काम भी रुकवा दिया। साथ ही चेताया कि अगर उसने पुनः भूमि पर कब्जे का प्रयास किया तो उसके खिलाफ एफआई आर करा दी जाएगी।
लगभग दो सप्ताह पूर्व भी नगर निगम के अधिकारियों ने इसी भूमि से कब्जा हटवाया था। भूमि पर बार-बार कब्ज का प्रयास हो रहा है, लेकिन नगर निगम ऐसा कोई इंतजाम क्यों नहीं कर देता कि इस पर कब्जा न हो सके।
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