विधान परिषद की वित्तीय एवं प्रशासकीय विलम्ब जांच समिति ने लंबित प्रकरणों के लिए आगरा में सदन बुलाया

आगरा। उत्तर प्रदेश विधान परिषद की वित्तीय एवं प्रशासकीय विलम्ब जांच समिति के सभापति पवन कुमार ने बुधवार को नवीन सर्किट हाउस में आगरा और फिरोजाबाद जिले के सेवानिवृत्त देयकों के मामले में सदन बुलाया।

Oct 16, 2024 - 18:25
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विधान परिषद की वित्तीय एवं प्रशासकीय विलम्ब जांच समिति ने लंबित प्रकरणों के लिए आगरा में सदन बुलाया
उत्तर प्रदेश विधान परिषद की वित्तीय एवं प्रशासकीय विलंब जांच समिति के सभापति और सदस्य सर्किट हाउस में आयोजित सदन में अधिकारियों से चर्चा करते हुए।
इस सदन में विभिन्न विभागों के सेवानिवृत्त कार्मिकों के पेंशन, राशिकरण, अवकाश नकदीकरण, सामूहिक बीमा निधि के साथ-साथ मृतक आश्रित की नियुक्तियों के सम्बन्ध में विभागवार चर्चा कर निर्देश दिए गए। 
सदन में एक जनवरी 2020 से 31 दिसम्बर 2023 के मध्य सेवानिवृत्त हुए कार्मिकों के पेंशन, ग्रेच्युटी, बीमा आदि देयकों के भुगतान के बारे में बताया गया कि कुल 19 प्रकरण लम्बित हैं। इस पर विस्तार से चर्चा करते हुए सभापति ने निर्देश दिए कि सभी प्रकरणों का निस्तारण कराते हुए एक माह के अन्दर समिति सभापति और सभी सदस्यों को निस्तारण आख्या उपलब्ध कराएं। बेसिक शिक्षा विभाग के बारे में सीडीओ से कहा कि वे स्वयं प्रकरणों में व्यक्तिगत रूचि लेते हुए निस्तारण कराना सुनिश्चित करें। 
सदन में एक जनवरी 2020 से 31 दिसम्बर 2023 के मध्य मृतक कार्मिकों के आश्रितों को सेवायोजित करने की चर्चा में बताया गया कि कुल 15 प्रकरण लम्बित हैं। सभापति ने कहा कि मृतक आश्रित को अनुकम्पा के आधार पर सेवानियोजित करना मृतक आश्रित का अधिकार ही नहीं बल्कि हमारा कर्तव्य भी है और यह मानवता का सिद्धान्त भी है। उन्होंने निर्देश दिए कि समस्त प्रकरणों का निस्तारण न्यायोचित ढंग से एक माह के अन्दर कराना सुनिश्चित करें। 
सामान्य भविष्य निधि के लम्बित भुगतान के बारे में भी सदन में चर्चा की गई। 
बताया गया कि लम्बित प्रकरणों में अधिकांश को 90 प्रतिशत का भुगतान कर दिया गया है तथा शेष 10 प्रतिशत के भुगतान हेतु महालेखाकार कार्यालय को संस्तुति के लिए प्रकरण प्रेषित कर दिया गया है, जो अभी लम्बित हैं। 
वृद्धावस्था पेंशन, विधवा पेंशन के विगत 03 वर्षों से कोई भी प्रकरण लम्बित नहीं है। जनपद में बिजली, पानी से सम्बन्धित कोई भी विकास कार्य स्वीकृति मिलने के उपरांत एक वर्ष से अधिक लम्बित नहीं है। सदन को यह भी अवगत कराया गया कि विगत 01 वर्ष से अधिक समय से आगरा विकास प्राधिकरण द्वारा भवनों के मानचित्र की स्वीकृति तथा भूमि सिलिंग सम्बन्धित प्रमाण पत्र लम्बित नहीं है।
सदन में कार्यवाही के दौरान समिति के सदस्यगण उमेश द्विवेदी, कुँवर महाराज सिंह, अरूण पाठक, डा. केपी श्रीवास्तव एवं विक्रान्त सिंह उर्फ रिशु,  विधायक डा. जीएस धर्मेंश, एमएलसी विजय शिवहरे, जिलाधिकारी, आगरा अरविन्द मल्लप्पा बंगारी, जिलाधिकारी फिरोजाबाद रमेश रंजन एवं अन्य विभागों के अधिकारी मौजूद रहे। 

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