दिवाली नहीं तो दिवाली से कम भी नहीं, दशहरा के बाद करवाचौथ पर गूंजे पटाखे, कहां से आए ?
आगरा। करवाचौथ का व्रत श्रद्धापूर्वक मना। सुहागिनों ने पति की लंबी आयु के लिए दिन भर व्रत रखा और शाम को चंद्रमा के दर्शन करते हुए खोला। इससे पहले घरों में करवा चौथ की कथा हुई। इस बार करवा चौथ पर शहर भर में पटाखों की गूंज जबरदस्त तरीके से सुनाई दी। ऐसा लगा मानो आज ही दिवाली है।
दीपावली पर आगरा में ग्रीन बम पटाखे चलाने की ही कई सालों से अनुमति मिल रही है, जिससे दीपावली पर वायु प्रदूषण का स्तर ना बढ़े।
अब सवाल यह है कि इस साल आगरा में दिवाली पर पटाखों की बिक्री 29, 30, 31 अक्तूबर, 1 व 2 नवंबर को 9 स्थलों पर होगी। वह भी हरित पटाखे ही होंगे। तो फिर दशहरा से जो लगातार आतिशबाजी हो रही है वह पटाखे आ कहां से रहे हैं।
संभव है कि पिछले साल की आतिशबाजी लोगों ने बचा कर रखी हो या कुछेक लाइसेंसी दुकानों से खरीदी जा रही हो लेकिन ऐसा एक सीमा तक ही हो सकता है जबकि दशहरा और बीती रात की आतिशबाजी जबरदस्त थी। दिवाली से पहले ही लगा मानो दिवाली आ गई हो। इसी तरह क्रिकेट मैच हो, चुनाव के नतीजे, शादी ब्याह या बर्थडे पार्टी यह पटाखों का यह शोर इतना आम है कि हर छोटे मोटे मौकों पर भी सुनाई देता है। यह पटाखे हरित हैं या नहीं यह भी देखना होगा।
What's Your Reaction?